योग है सभी रोगों का समाधान, बदलें अपनी दिनचर्या

योग के जन्मदाता महर्षि पतंजलि ने कहा है कि "योगश्चित्तवृत्त निरोधःचित्त की वृत्तियों के निरोध ही योग है। योग करने से शरीर के सब रोग ठीक हो जाते हैं। वैसे आजकल लोग प्रतिदिन योग करते है। जब से विश्व योग दिवस 21 जून को मनाया जाने लगा है तब से लोगों में योग के प्रति जागरूकता ज्यादा उत्त्पन्न हो गयी है। लोग प्रतिदिन योग करते हैं किन्तु योग करने के पूर्व कुछ ऐसे नियम होते हैं जिन्हे निरंतर पालन करना चाहिए वार्ना योग करने का पूर्णरूपेण फायदा नहीं मिल पायेगा। 

प्रथम नियम है दिनचर्या 

दिनचर्या :- सर्वप्रथम जरुरी होता है कि आपकी दिचर्या कैसी है, सुबह कितनी जल्दी उठ जाते हैं, रात में कितनी जल्दी सो जाते हैं। पुरे दिन में जो कार्य कर रहे है वह नियमित होनी चाहिए इसके साथ साथ खानपान पर भी ध्यान देना जरुरी है। जैसे सुबह खाने के साथ जूस पीना चाहिए दोपहर को छांछ एवं रात्रि में हलके भोजन के साथ दूध का सेवन करना चाहिए। यह आहार-विहार का प्रथम नियम होता है। इस पथ पर चलने से मनुष्य ज्यादा समय तक निरोग जीवन जीता है। 

दिनचर्या हमें किस प्रकार अपनानी चाहिए 

जल्दी उठने की आदत :- सुबह जल्दी उठने की आदत दाल देनी चाहिए। सूर्य निकलने के डेढ़ घंटा पूर्व बिस्तर छोड़ देना चाहिए या सुबह 4 बजे जागरण आवश्यक है। इस समय को ब्रह्ममुहूर्त कहते है इस समय में उठना मनुष्य के लिए फायदेमंद  होता है। 

उषापान :- सुबह उठने के बाद सर्वप्रथम उषापान करना चाहिए यानि स्वच्छ जल या ताजा जल का सेवन करना चाहिए जो शरीर के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है। उषापान करने से हार्टअटैक का खतरा काफी काम हो जाता है। सुबह-सुबह जल पीना चाहिए किन्तु यह आवश्यक जानना है कि जल कितना पीना चाहिए और कैसे पीना चाहिए तो जल उकड़ू बैठकर यानि पैर के पंजे के बल बैठकर पीना चाहिए और ज्यादा से ज्यादा जितना जल पी सकते हैं उतना पिएं।


तीन आसन अनिवार्य :- उषापान करने के बाद तीन आसन अनिवार्य रूप से करना चाहिए ताकि आप स्वस्थ रह सकें।

'ताड़ासन, तिर्यकताड़ासन और कटिचक्रासन'  ये तीन आसन करने का फायदा यह है कि इसे करने से पेट सम्बन्धी रोगों को दूर करता है। रात्रि में सोते समय हमे यह याद नहीं रहता कि किस तरह सोयें हैं, हमारे हाथ पैर कहाँ है यह ख्याल नहीं रहता।  गलत तरीके से सोने के कारण रक्त का संचार सही तरीके से नहीं हो पाता जिसके कारण शरीर में दर्द शुरू हो जाता है। इस आसन को करने से रक्त का संचार सुचारु रूप से होने लगता है और पूरा दिन तरोताजा महसूस करते हैं। 

FBB :- तीन आसन करने के बाद जो भी हमारा दिनचर्या है उसे करना चाहिए। FBB यानी F-FRESH, B-Brush और B-Bath इसके बाद आप कोई भी कार्य कर सकते हैं। इन तीनों के बाद कोई भी आसन किया जा सकता है जैसे:- सूर्यनमस्कार, प्रज्ञायोग, शीर्षासन आदि 

खानपान :- योग करने के बाद कड़ी भूख लगती है तो यह जरुरी है की शुरुआत तरल द्रव से किया जाए और तब भरपेट खाना खाना चाहिए जिससे पाचन शक्ति भी मजबूत रहती है और इंसान स्वस्थ रहता है। 


सोने के समय :- रात्रि में सोने के वक़्त दूध में हल्दी मिलाकर पीना चाहिए जिससे कैंसर का खतरा नहीं रहता है और पूरे दिन किये गए कार्य के दौरान जो थकावट उत्त्पन्न होती है हल्दी उसे जल्दी ठीक कर देता है और थकावट मिटाता है।
और सोने का समय ज्यादा से ज्यादा रात्रि के 10 बजे तक होना चाहिए। 
इसीलिए करो योग रहो निरोग 
  



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